ShortNews in English
Jodhiyasi Titri: 12.07.2013
Acharya Mahashraman told that good Sanskar are very important. Guardian should paid attention that their kids get good Sanskar. He opined that children with good Sanskar are future of nation.
News in Hindi
संस्कारित बच्चे ही राष्ट्र का उज्जवल भविष्य: आचार्य महाश्रमण
जोधियासी 11 जुलाई 2013 जैन तेरापंथ न्यूज
तेरापंथ धर्म संघ की अहिंसा यात्रा गुरुवार को आंवलियासर पहुंची। साधु साध्वियों धवल सेना लाडनूं में चातुर्मास से पहले जिले के नागौर से कंवलीसर, जोधियासी होते हुए आंवलियासर पहुंची है। अहिंसा यात्रा के स्वागत में बड़ी संख्या में जैन समाज के लोग पहुंचे।
संघ के 11 वें आचार्य महाश्रमण ने कहा जीवन में संस्कारों की संपति के समान कोई धन दौलत नहीं है। बाल पीढ़ी से संस्कारों के आने से धरती पर अच्छे जीवन की कमी पूरी हो सकती है। संस्कार ही व्यक्तित्व निर्माण में सबसे बड़ा पोषक तत्व है। इसलिए जीवन में संस्कारों की संपदा के अर्जन का प्रयास होते रहना चाहिए। अच्छे व्यक्तियों, सत्संग में रहना चाहिए। सत्संग के समागम से हम जीवन में कई विपदाओं से स्वत: ही छुटकारा पा सकते हैं। अभिभावकों का कर्तव्य है कि वे बच्चों में अच्छे संस्कारों को भरने का प्रयास करें। शिक्षक, साधु-संत और मीडिया, समाज के निर्माण में महत्ती भूमिका निभा सकते हैं। सुसंस्कारों वाली पीढ़ी भारत का भविष्य तय करती है। बच्चों में नैतिकता, मैत्री भावना, संयम आदि को पाठ पढ़ाया जाना चाहिए। ज्ञानशाला व विद्यालय बच्चों में शिक्षा के माध्यम से उन्हें राष्ट्र के विकास के लिए तैयार करता है।
मंत्री मुनि सुमेरमल ने कहा कि आचार्य वर की अहिंसा यात्रा जीवन की दिशा बताने वाली है। व्यक्ति को अपनी वाणी पर कायम रहना चाहिए।